मा. कुलपति जी का परिचय
प्रो. खेम सिंह डहेरिया
आचार्य खेमसिंह डहेरिया, अटल बिहारी वाजपेयी हिंदी विश्वविद्यालय, भोपाल के 'कुलपति' पद पर पदस्थ हैं। इसके पूर्व आचार्य डहेरिया जी इन्दिरा गांधी राष्ट्रीय जनजातीय विश्वविद्यालय, अमरकंटक (म.प्र.) के हिंदी विभाग में प्रोफेसर के साथ अध्यक्ष, संकाय अधिष्ठाता, अधिष्ठाता छात्र कल्याण, मुख्य छात्रावास अधीक्षक एवं विभागीय शोध समिति और हिंदी अध्ययन मंडल के अध्यक्ष रहे हैं। इं.गां.रा.ज.वि.वि., अमरकंटक में भवन निर्माण समिति में सदस्य एवं प्राध्यापक संघ के भी अध्यक्ष रहे हैं। इसके अतिरिक्त प्रो. डहेरिया जी त्रिपुरा केंद्रीय विश्वविद्यालय, त्रिपुरा में विजिटर नॉमिनी कोर्ट सदस्य, कार्यपरिषद् सदस्य, वित्त समिति के सदस्य, महाराजा छत्रसाल बुंदेलखंड विश्वविद्यालय, छतरपुर में कार्यपरिषद् के सदस्य रहे हैं। उच्च शिक्षा परिषद्, मध्यप्रदेश शासन, उच्च शिक्षा विभाग में सदस्य रहे हैं। अंतरिक्ष विभाग एवं परमाणु ऊर्जा विभाग, भारत सरकार, राजभाषा विभाग, गृह मंत्रालय, नई दिल्ली के हिंदी सलाहकार समिति के सदस्य, राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् की सलाहकार समिति में सदस्य एवं भारत सरकार की शिक्षा संबंधी राष्ट्रीय निगरानी समिति में सदस्य के रूप में दायित्व का निर्वहन कर रहे हैं।
वर्तमान में आप डॉ. हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय, सागर (म.प्र.) के अकादमिक परिषद् के सदस्य के साथ हिंदी अध्ययन मंडल के बाह्य विषय विशेषज्ञ सदस्य भी हैं। गुरु घासीदास केंद्रीय विश्वविद्यालय, बिलासपुर, शा.मो.ह. गृह विज्ञान एवं विज्ञान महिला महाविद्यालय जबलपुर के हिंदी अध्ययन मंडल तथा विभागीय शोध समिति के बाह्य विषय विशेषज्ञ सदस्य भी हैं। डॉ. हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय, सागर के साथ विभिन्न विश्वविद्यालयों में हिंदी विभाग में पी-एच.डी. मौखिकी परीक्षा के अध्यक्ष एवं परीक्षक भी हैं।
प्रो. खेमसिंह डहेरिया जी के निर्देशन-मार्गदर्शन में 06 शोथार्थियों ने शोध कार्य कर पी-एच.डी. की उपाधि प्राप्त की है। आपके द्वारा लिखित 20 पुस्तकें प्रकाशित हो चुकी हैं तथा आपने विश्वविद्यालय अनुदान आयोग, मध्य क्षेत्रीय कार्यालय, भोपाल द्वारा प्रायोजित लघु परियोजना कार्य 2010 में संपन्न किया है। आपको 54 अंतरराष्ट्रीय व राष्ट्रीय सम्मानों से सम्मानित किया गया है। आपने अंतरराष्ट्रीय व राष्ट्रीय स्तर की 105 शोध-संगोष्ठियों में शोधपत्र प्रस्तुत किए हैं। आपने प्रतिष्ठित पत्र-पत्रिकाओं में 112 शोध पत्रों का प्रकाशन किया है। राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय स्तर की 15 कार्यशालाओं में आपने प्रतिभागिता की है। राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय स्तर की 25 परिसंवादों व कार्यशालाओं का संयोजन भी किया है। अंतरराष्ट्रीय व राष्ट्रीय स्तर के विभिन्न संस्थानों, विश्वविद्यालयों में 128 विषयों पर व्याख्यान भी आपके द्वारा प्रस्तुत हुए हैं। 10 राष्ट्रीय स्तर की पत्रिकाओं में 'संपादक' के बतौर कार्य संभाला है। 17 राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय स्तर की विभिन्न संस्थानों में आपकी सदस्यता है। आपको 28 वर्षों का अकादमिक व प्रशासनिक कार्य का अनुभव है। आपका हिंदी साहित्य की विविध विधाओं यथा-कविता, कहानी, समीक्षा, आलोचना, रिपोर्ताज़, संस्मरण आदि पर प्रभुत्व है।
कुलपति
अटल बिहारी वाजपेयी हिंदी
विश्वविद्यालय, भोपाल (म.प्र.)